मोदी सरकार की बड़ी कैबिनेट का बड़ा संदेश, जानिए ख़बर
नई दिल्ली | नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को दूसरी बार देश के प्रधानमंत्री के तौर पर शपथ ली। उनके साथ 57 अन्य मंत्रियों को भी राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई। 2014 में मोदी ने 45 मंत्रियों के साथ शपथ ली थी, जिसमें 23 कैबिनेट, 10 राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) और 12 राज्य मंत्री थे। हालांकि इस बार 24 कैबिनेट, 9 राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) और 24 राज्य मंत्रियों ने शपथ ली। पिछली बार पीएम मोदी ने ‘मिनिमम गवर्नमेंट, मैक्सिमम गवर्नेंस’ का लक्ष्य रखा था। स्ट्रेंथ बाद में बढ़कर 70 हो गई थी। इस बार भी मंत्रिपरिषद का विस्तार हो सकता है और यह आंकड़ा अधिकतम 81 मंत्रियों (लोकसभा की स्ट्रेंथ का 15 फीसदी) का हो सकता है।फिलहाल मंत्रियों के पोर्टफोलियो नहीं बांटे गए हैं पर जिस नंबर पर मंत्रियों ने गुरुवार को शपथ ली उससे काफी कुछ साफ हो गया है। मोदी के बाद पहले कैबिनेट मंत्री के तौर पर पिछली सरकार में गृह मंत्री रहे राजनाथ सिंह ने शपथ ली। ऐसे में सरकार में उनकी नंबर दो की पोजीशन बनी रह सकती है। सरकार में शामिल सबसे चर्चित व प्रभावशाली चेहरे, बीजेपी की प्रचंड जीत के आर्किटेक्ट अमित शाह को उसके बाद शपथ दिलाई गई। इसके बाद क्रम से नितिन गडकरी, डीवी सदानंद गौड़ा और निर्मला सीतारमण ने शपथ ली। टॉप चार कैबिनेट मंत्रालय- गृह, विदेश, वित्त और रक्षा संभालने वाले मंत्रियों को महत्वपूर्ण कैबिनेट कमिटी ऑफ सिक्यॉरिटी (CCS) में शामिल किया जाता है। मंत्रियों की चॉइस में भी उन राज्यों को उच्च प्राथमिकता में रखा गया है, जहां आने वाले महीनों में चुनाव होने हैं। वास्तव में 2014 की तुलना में मंत्रियों की संख्या जो बढ़ी है, वे जूनियर मंत्री हैं, जो नए चेहरे हैं या केंद्र में राजनीतिक अनुभव कम है। उत्तर प्रदेश से सबसे ज्यादा 9 मंत्री बने जिनमें पीएम मोदी भी शामिल हैं। इसके बाद महाराष्ट्र से 9, बिहार से 5 (6 अगर रामविलास पासवान को शामिल करें जो राज्यसभा के रास्ते आएंगे) मंत्री बने हैं। हरियाणा, महाराष्ट्र, झारखंड और जम्मू-कश्मीर में इसी साल विधानसभा के चुनाव होने हैं। दिल्ली, बिहार में अगले साल और पश्चिम बंगाल, केरल, पुदुचेरी, तमिलनाडु और असम में 2021 में चुनाव हैं।