प्रीतम भरतवाण जागर लोक संस्कृति व लोक वाद्यों के है दूसरे जनक
मुख्यमंत्री हरीश रावत ने प्रसिद्ध जागर गायक प्रीतम भरतवाण को जागर लोक संस्कृति व लोक वाद्यों को जीवंतता प्रदान करने वाला घुमंतु एम्बेसडर बताया है। उन्होंने कहा कि प्रीतम भरतवाण देश व दुनिया में जागर व ढोल वाद्य के द्वारा लोक संस्कृति, आध्यात्म व देवत्व की भावना को जोड़ने का कार्य कर रहे है। भरतवाण को जन्म दिन की बधाई देते हुए उन्होंने राज्य का लोक वाद्य ढोल एवं अगंवस्त्र भेंट कर सम्मानित भी किया। नगर निगम प्रांगण में डाडी-कांठी क्लब द्वारा प्रीतम भरतवाण के जन्म दिवस के अवसर पर आयोजित जागर संरक्षण दिवस कार्यक्रम कोसंबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे लोक वाद्यों, लोक कलाओं, लोक संस्कृति में जीवन का सार है। हमारे कलाकार इसे जीवंत बनाने का कार्य कर रहे है। उन्होंने प्रदेश की जनता की ओर से भी भरतवाण को ढोल भेंट कर सम्मानित किया। उन्होंने डाडी-कांठी क्लब को इस प्रकार के आयोजन के लिये भी बधाई दी। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने प्रदेश के बुजुर्ग जागर गायकों के साथ ही लोक कलाकारों व लोक संस्कृति से जुड़े व्यक्तियों को भी सम्मानित किया। जागर गायक प्रीतम भरतवाण ने मुख्यमंत्री हरीश रावत का आभार व्यक्त करते हुए उन्हें समाज के अन्तिम व्यक्ति में खडे व्यक्ति की पीड़ा को महसूस करने वाला व्यक्ति बताया। उन्होंने जागरियों को भी 3 हजार रूपये की मासिक पेंशन स्वीकार करने के लिए मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर भरतवाण तथा अमेरिकी नागरिक स्टीफन फ्यूल द्वारा ढोल वादन की भी प्रस्तुति दी गई। कार्यक्रम में कैबिनेट मंत्री मंत्री प्रसाद नैथानी, प्रीतम सिंह पंवार, महापौर विनोद चमोली, विधाायक राजकुमार, लघु सिंचाई सलाहकार समिति के उपाध्यक्ष राजेन्द्र शाह, कांग्रेस उपाध्यक्ष सुर्यकांत धस्माना, पूर्व दायित्वधारी मनीष वर्मा, लोक गायक नरेन्द्र सिंह नेगी, मसरूम लेडी दिव्या रावत, डांडी-कांठी क्लब के कृष्णा दत्त भट्ट, सच्चिदानंद सेमवाल, अमेरिकी नागरिक स्टीफन फ्यूल, जैरथ सहित बड़ी संख्या में लोक कलाकार, संस्कृतिकर्मी एवं जनप्रतिनिधी आदि उपस्थित थे।