इनसे सीखे : अपने ही अपनों का छोड़ रहें साथ ,लेकिन साथ दे रही अनमोल संस्था
देहरादून । कोरोना काल में जब मुश्किल घडी में अपने ही अपनों का साथ छोड़ रहें हैं। ऐसे समय में अनमोल मदद संस्था ने ऐसे लोगों के साथ ही लावारिस लाशों का संस्कार करने का बीड़ा भी उठाया है। अनमोल मदद संस्था के ये कोरोना वॉरियर नौजवान इंसानियत की सेवा का अनमोल उदाहरण पेश कर रहें है। कोरोना संक्रमण पूरे विश्व में पैर पसार चुका है। इस महामारी ने अपनों को अपने लोगों से दूर कर दिया है। सगे संबंधी भी कोरोना संक्रमितों का संस्कार करने में नजदीक नहीं आ रहें हैं वहीं ये युवा इंसानियत का फर्ज निभाते हुए उन संक्रमित मृतकों का अंतिम संस्कार कर पुण्य का काम कर रहे हैं। संस्था के वरिष्ठ सदस्य रविन्दर सिंह आनन्द ने जानकारी देते हुए कहा कि कोरोना संक्रमत के पास जाने से मुँह मोड़ लेते हैं तो इंसानियत के नाते यह काम करने का बीड़ा अपने साथियों के साथ उठाया जिसमें मेरा छोटा भाई गुजिन्दर सिंह आनन्द भी शामिल है। एसडीएम के संदेश पर उनसे मिले। उन्होंने 9 सदस्यी हमारी टीम को अधिकृत पत्र दिया। जिसके बाद उन्हें लोगों के संदेश मिले और उनकी एक कॉल पर टीम एम्बुलेंस, पीपीई किट आदि लेकर पहुंच जाते है। पहले सब ये संस्था को अपने आप जुटाना पड़ता था पर अब सरकार पूरा सहयोग कर रही है। संस्था के सदस्य पूर्व पार्षद संतोख सिंह नागपाल ने कहा कि अनमोल मदद संस्था जरूरतमंदों को राशन वितरण की सेवा भी निभा रही है। मसूरी से ऊपर गांव खेड़ा में, डाट मन्दिर ने नीचे गाँव में पुरी टीम राशन वितरित करके आई है, घर वालों का साथ रहता है पर हिदायत बरतने के लिए अवश्य कहते हैं। नीरज ढींगरा ने कहा कि लोगों में दहशत है और वे हमारे पास आने से भी डरते है। कॉल आने पर उनके घर से या हस्पताल से लाने का काम करते है अभिभावक से अधिकृत पत्र लेकर ही मृतकों का विधिवत धर्म कर्म से संस्कार करते हैं। उनकी टीम शव को सील करके रायपुर स्थित कोविड स्थल पर ऐम्बुलेंस द्वारा ले जाकर शव का अरदास कर के संस्कार किया जाता है। अभी तक करीब 90 कोविड मृतकों का संस्कार कर चुके हैं। इस महान सेवा को करने वालों में रविन्दर सिंह आनन्द, पूर्व पार्षद संतोख सिंह नागपाल, नीरज ढींगरा, गुरजिन्दर सिंह आनन्द, हरदीप सिंह, अमरजीत सिंह कुकरेजा, अमित पारीख मिथुन रोथान, अभिषेक, शशि एवं अंतराष्ट्रीय शूटर दिलराज कौर शामिल हैं।